लपटों को सौंप दिया। थी वीरांगना वह स्वाभिमानी लक्ष्मी बाई झांसी की रानी। लपटों को सौंप दिया। थी वीरांगना वह स्वाभिमानी लक्ष्मी बाई झांसी की रानी।
मनु जबकि मात्र 4 बरस की तभी माता का संग छूटा, जिम्मेदारी मनु की पिता तांबे के सर आयी, मनु जबकि मात्र 4 बरस की तभी माता का संग छूटा, जिम्मेदारी मनु की पिता तांबे क...
जैसे दिन और रात अपनी जीवन यात्रा से यह काल भ्रमण पूरा करने की चाह है उसी तरह मनुष्य को भी अपन... जैसे दिन और रात अपनी जीवन यात्रा से यह काल भ्रमण पूरा करने की चाह है उसी ...
कविता वो भी नहीं जो पढ़ने से आनंद आ जाए..... कविता वो भी नहीं जो पढ़ने से आनंद आ जाए.....
अनजान सफर पर चलते हुए अपना नाम रौशन कर जाते हैं। अनजान सफर पर चलते हुए अपना नाम रौशन कर जाते हैं।
भरा पूरा परिवार था दादा दादी ताऊ ताई काका काकी सहित संयुक्त परिवार था भरा पूरा परिवार था दादा दादी ताऊ ताई काका काकी सहित संयुक्त परिवार था